नमाज के बाद दुकानें बंद कराने के प्रयास के दौरान दो समुदायों के लोगों के द्वारा एक-दूसरे पर पथराव और बम फेंके जाने के बाद यहां के कुछ इलाकों में हुई हिंसा के सिलसिले में पुलिस ने अभी तक 18 लोगों को गिरफ्तार किया है।
पुलिस महानिदेशक, प्रशांत कुमार ने लखनऊ में पत्रकारों को बताया कि कानपुर में उपद्रव करने वालों की पहचान की जा रही है और अभी तक इस सिलसिले में 18 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। उन्होंने बताया कि पुलिस के पास पर्याप्त सीसीटीवी फुटेज है और आगे की कार्रवाई में उसकी मदद ली जाएगी। उन्होंने कहा कि उपद्रवियों के साथ—साथ इसकी साजिश करने वालों के खिलाफ गैंगस्टर कानून के तहत कार्रवाई की जाएगी और उनकी संपत्ति को जब्त या ध्वस्त कराया जाएगा।
उन्होंने बताया कि जल्द ही सैकड़ों लोग सड़कों पर उतर आए और राहगीरों सहित करीब आधा दर्जन लोग हिंसा में गंभीर रूप से घायल हुए हैं। लखनऊ में एडीजी कुमार ने बताया कि कानपुर की घटना को शासन ने अत्यंत गंभीरता से लिया है और अतिरिक्त पुलिस बल को वहां भेजा गया है।
वहीं घटना के बाद समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने लोगों से शांति बनाये रखने की अपील करते हुए पैगंबर मोहम्मद के लिए कथित रूप से अपमानजनक टिप्पणी करने वाली भाजपा नेता को गिरफ्तार करने की मांग की है।