प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू द्वारा आयोजित आधिकारिक भोज में भारत-मालदीव संबंधों की महत्ता पर प्रकाश डाला। उन्होंने दोनों देशों को ग्लोबल साउथ के साझेदार बताते हुए कहा कि भारत मालदीव के विकास यात्रा में सच्चा साझेदार रहा है।
प्रधानमंत्री ने उल्लेख किया कि यह मालदीव के 60वें स्वतंत्रता दिवस पर मुख्य अतिथि के रूप में आमंत्रित होना सम्मानजनक है। इसी वर्ष भारत-मालदीव संबंधों की भी 60वीं वर्षगांठ है, जिससे यह यात्रा विशेष महत्व रखती है।
उन्होंने कहा, “हमारे संबंध सदियों पुराने हैं। हम केवल पड़ोसी या साझेदार ही नहीं, बल्कि आवश्यकता के समय साथ खड़े होने वाले मित्र हैं। मालदीव भारत की ‘पड़ोसी प्रथम’ नीति में विशिष्ट स्थान रखता है।”
राष्ट्रपति मुइज्जू ने अपने संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी को भारत के दूसरे सबसे लंबे कार्यकाल वाले प्रधानमंत्री बनने पर बधाई दी। उन्होंने 4,078 दिनों तक पद पर रहने को उनकी जनसेवा प्रति प्रतिबद्धता का प्रमाण बताया।
यह यात्रा मालदीव के स्वतंत्रता दिवस समारोह के अवसर पर हो रही है, जिसमें प्रधानमंत्री मोदी मुख्य अतिथि हैं। यह अवसर 1965 में भारत द्वारा मालदीव की स्वतंत्रता को शीघ्र मान्यता देने की याद दिलाता है।
इस राजनयिक मुलाकात को द्विपक्षीय संबंधों को पुनर्परिभाषित करने और हिंद महासागर क्षेत्र में आपसी हितों को सुदृढ़ करने का अवसर माना जा रहा है। प्रधानमंत्री की उपस्थिति क्षेत्रीय स्थिरता, समुद्री सहयोग और सांस्कृतिक संवाद के लिए भारत के निरंतर समर्थन का प्रतीक है।