कू ऐप अंग्रेजी के साथ-साथ कई भारतीय भाषाओं में उपलब्ध, 4 सौ अक्षरों की शब्द सीमा

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भारत में बना माइक्रो ब्लॉगिंग साइट कू तेजी से लोकपिय्र हो रहा है। इस ऐप की शुरूआत नवंबर 2019 में की गयी थी।

कई भारतीय इस स्‍वदेशी ऐप से जुड़ गए हैं। यह ऐप आत्‍मनिर्भर भारत ऐप नवाचार चुनौती का विजेता भी है। कू ऐप अंग्रेजी के साथ-साथ कई भारतीय भाषाओं में उपलब्ध है। ऐप में चार सौ अक्षरों की शब्द सीमा है और इसमें व्हाट्सएप तथा अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपडेट साझा करने की सुविधा भी है।

आकाशवाणी समाचार से बातचीत में कू ऐप के मुख्‍य कार्यकारी अधिकारी अप्रमेय राधाकृष्ण ने कहा कि यह वास्तव में एक आत्मनिर्भर ऐप है और यह सुनिश्चित किया गया है कि यह उपयोगकर्ताओं के लिए सुरक्षित हो।

इस ऐप से जुड़ने वाले प्रमुख लोगों में लेखक, अमीश त्रिपाठी भी हैं। आकाशवाणी से बातचीत में उन्होंने कहा कि भारतीय प्रतिभाओं को मौका देना विदेशी ऐप्स को बढ़ावा देने से बेहतर है। उन्होंने कहा कि यह कई भारतीय भाषाओं में उपलब्ध होने के कारण उपयोगकर्ताओं के लिए फायदेमंद है।

चूंकि ऐप को देश में ही बनाया गया है इसलिए डेटा की निजता की चिंता भी नहीं है। आकाशवाणी से बातचीत करते हुए साइबर विशेषज्ञ जितेन जैन ने इस बारे में विस्तार से जानकारी दी।

कू की तरह कई अन्य भारतीय ऐप अब घरेलू उपयोगकर्ताओं के लिए उपलब्ध है। ये आत्‍मनिर्भर भारत के विचार को प्रोत्‍साहन दे रहे हैं। ये ऐप अगली पीढ़ी की उद्यमशीलता और नवाचार की भावना के उदाहरण हैं।

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