राज्य सरकार की हिंदू विरोधी नीति का परिणाम है कर्नाटक में जैन आचार्य की नृशंस हत्या: विहिप

गत बुधवार को कर्नाटक के बेलगावी के चिकोड़ी में दिगंबर जैन मुनि आचार्य श्री काम कुमार नंदी की नृशंस हत्या ने सम्पूर्ण भारत के धार्मिक व अध्यात्मिक जगत को स्तब्ध कर दिया है।

घटना की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए विश्व हिंदू परिषद के मिलिंद परांडे ने आज कहा कि विश्वभर को अहिंसा का पाठ पढ़ाने वाले पूज्य जैन आचार्य का अपहरण और उसके बाद जिहादियोंं द्वारा उनके पावन शरीर के टुकड़े टुकड़े करना कहीं ना कहीं राज्य की कांग्रेस नीत सरकार की हिंदू विरोधी नीतियों का ही परिणाम प्रतीत होता है। जैन मुनि गत 15 वर्षों से आनंद पर्वत पर प्रवास कर स्थानीय समाज की सेवा कर रहे थे।

जब से नई सरकार के मंत्रियों ने कभी गौ हत्या विरोधी तो कभी धर्मांतरण विरोधी कानूनों को हटाने की बात की है, राज्य में धर्म द्रोही व राष्ट्र विरोधी शक्तियों के दुस्साहस बढ़े हैं। इन समाज कंटक अपराधियों पर अंकुश लगा कर हत्यारों व उनके सहयोगियों को अविलंब फांसी दी जाए।

विहिप महामंत्री ने मानवता की प्रतिमूर्ति पूज्य जैन मुनि को अपने श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए यह भी कहा कि सरकार की हिंदू द्रोही नीति के कारण राज्य में आज ना साधु सुरक्षित हैं और ना ही भारतीय समाज। यदि छुट्टे घूम रहे हैं तो वो हैं इस्लामिक जिहादी व अतिवादी।

श्री परांडे ने मांग की कि घटना पर कांग्रेस सरकार को हिंदू जैन समाज से मांफी मांगते हुए अपनी हिंदू द्रोही मानसिकता से बाहर आना चाहिए।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here